Tuesday, May 10, 2016

दरवाजे पर निम्बू मिर्चे लटकाने का वैज्ञानिक कारण

अगर आप भारत में दुकानों पर देखेंगे तो लगभग हर दूकान पर आप को निम्बू और मिर्चे  की लड़ लटकी हुई दिखेगी | यहाँ तक की कई बड़े व्यवसाय भी अपने बिजनेस के दरवाजो पर मिर्च और निम्बू लटकाते हैं |  इसके साथ ही आप को हर दो या तीन दिनो में नए और ताजा निम्बू मिर्च की लड़ लटकाई जाती है | आप में से कई लोग ये भी सोच सकते हैं की क्यों निम्बू मिर्च को हर दो या तीन दिनों में बदला जाना चाहिए और क्यों उन्हें कुछ ख़ास दिनों में ही बदला जाना चाहिए ?

जो लोग भ्रमो पर यकीन करते हैं वो लोग यही कहेंगे की इस तरह से निम्बू मिर्ची दरवाजे पर लटकाने से उनको बुरी नजर से बचाएगा, और उनके बिजनेस को भी बढाने में मदद कर सकता है | ये उन चंद सोचो में से है जो की भारत में बहुत ही लम्बे समय से है और हम ये नहीं कह सकते हैं की भारत में निम्बू मिर्च लटकाने की प्रथा कब से है | पर अगर आप को ये लगता है ये सोच सिर्फ भ्रम के उपर बनी है, तो आप पूरी तरह से गलत है |

असल में सच तो ये है की निम्बू और मिर्च को दरवाजे पर लटकाने का पीछे बहुत ही सीधा सा वैज्ञानिक कारण है, और लोगो ने इसे बुरी नजर और भगवान से जोड़ दिया ताकि लोग इस बात को नियम से माने | अब हम बात करे उस वैज्ञानिक कारण की जिसके कारण आप को अपने बिजनेस के दरवाजे पर निम्बू मिर्ची लटकाना चाहिए, तो उसका कारण ये है की निम्बू और मिर्ची का रस बहुत ही तेजी से छोटे छोटे कीटाणुओं को मार देता है वो भी बिना कोई नुक्सान फैलाए | याने की अगर आप की दूकान या बिजनेस की जगह पर छोटे छोटे बैक्टीरिया या फिर ऐसे ही दुसरे जीवाणु होंगे, तो वो प्राक्रतिक रूप से ही मर जायेंगे| इसका ये भी मतलब है की आप अपने काम करने की जगह को सिर्फ निम्बू मिर्चे लटका कर स्वस्थ बना सकते हैं |

अब हम बात करे उस सवाल की,  निम्बू मिर्च की लड़ को कुछ खास दिनों में ही क्यों लटकाया जाना चाहिए तो उसका भी जवाब है | होता ये है की दो या तीन दिनों के बाद मिर्च और निम्बू का रस पूरी तरह से सूख जाता है और सूखे हुए फलो को लटकाए रहने का कोई फायदा नहीं होता है, इसी लिए इन्हें हर दो या तीन दिन में बदल दिया जाना चाहिए | पहले के ज्ञानी लोगो ने इसके लिए दिन तय कर दिए की आप को इन तय दिनों को इसे बदलना है | अब इन तय दिनों पर बदलने से होता ये है की आप कभी गलती नहीं करते और इसे हर बार वक्त पर बदल देते हैं |


यहाँ ये कहना भी जरूरी है की आज कल कई लोग असली निम्बू मिर्च की जगह प्लास्टिक के सजावटी साधनों का इस्तेमाल करने लगे हैं, जो की निहायत ही बेवकूफी से भरी हुई हरकत है | अगर आप ऐसा करते हैं तो सिर्फ एक सजावटी सामान को अपने दरवाजे पर लटका लेंगे और उसका कोई फायदा नहीं मिलने वाला है | तो अगर आप ने ऐसा करा है तो मेरी सलाह यही होगी की आप सिर्फ और सिर्फ ताजे निम्बू मिर्च ही अपने बिजनेस के दरवाजे पर लगाए और उसे हर दो तीन में बदलते रहे |

Saturday, May 7, 2016

रात को नाख़ून काटना अशुभ क्यों होता है

कई बार बड़े लोग हम से कहते हैं की रात को नाखून नहीं काटना चाहिए नहीं तो अशुभ होता है | कई लोग ये भी कहते हैं की नाख़ून को सिर्फ नाइ के द्वारा ही कटवाया जाना चाहिए नहीं तो अशुभ होता है| और इसके साथ ही कुछ जगहों पर ये भी मान्यता है की घर के अन्दर नाख़ून काटने से लक्ष्मी दूर होती है| आज के समय में कई लोग इस बात को हवा में उडा देते हैं जबकि उनके इस शुभ और अशुभ के पीछे बहुत ही सीधा सा वैज्ञानिक और तार्किक कारण जुडा होता है |

पहले हम बात करे की रात के समय नाख़ून ना काटने की तो उसका सीधा कारन ये होता है, की पहले के समय में बिजली नहीं हुआ करती थी और तब नेल कटर भी इतने अच्छे नहीं हुआ करते थे | तब लोग चाकू या ऐसे ही किसी धारदार वस्तू से अपने नाखून काटा करते थे | अब मुझे ये बताने की जरा भी जरूरत नहीं है की रात के समय अँधेरे में ऐसे किसी भी हथियार से अपने नाखून काटना समझदारी तो नहीं हो सकती | ऐसे में आप को चोट लग सकती है और वो अपने आप में ही अशुभ हो जायेगा |

दूसरी बात करे की नाइ से ही नाखून कटवाने चाहिए, तो उसके पीछे भी वही कारण है मैंने उपर बताया| जैसे की मैंने कहा पहले के वक्त में नाख़ून काटने के लिए चाकू जैसे किसी धारदार चीज का इस्तेमाल होता था | अब अगर आप खुद ऐसे धारदार सामान से अपने नाखून काटेंगे तो तो आपके हाथ कटने का डर होगा, लेकिन नाइ अगर यही काम आप के लिए करेंगे तो आप के हाथ काटने के चांसेज बहुत ही कम हो जायेंगे | साथ ही नाइयों को इस काम का तजुर्बा होता था, और वो इस काम में पूरी सावधानी बरत कर ही नाखून काटा करते थे | तो आप को चोट लगने की उम्मीद लगभग ना के बराबर हो जाती थी |

अब अगली बात करते हैं घर के बाहर ही नाखून काटने की, तो उसका कारण भी सीधा सा लॉजिक है | आज के वक्त भी अगर आप नाखून काटेंगे तो कोशिश यही करेंगे की घर के बाहर बैठे या फिर बाथरूम में रहे ताकि नाखून घर में इधर उधर न फैले| उस वक्त जब इसे भगवान् या बुरे समय के साथ जोड़ा गया था, तब भी कारण यही था | बस तब हम लोगो इसे अपने अच्छे और बुरे समय से जोड़ लिया करते थे |


तो आगे से से जब भी आप अपने नाखून काटे और बड़े लोग आप को टोंके, तो ये ध्यान रखियेगा की उनकी कही बाते पूरी तरह से ना सही थोड़ी सही हो सकती हैं | साथ ही आप ये भी ध्यान रखियेगा की अपने नाखूनों को बाथरूम में ही कांटे और वो भी तब जब वहा पूरा उजाला हो |